Wednesday 27 March 2019

मानव रचना में  पर्यावरण पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन

मानव रचना में पर्यावरण पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन

फरीदाबाद, 27 मार्च: मानव रचना इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ रिसर्च एंड स्टडीज और सीएसएआर ने मिलकर सतत विकास, पर्यावरण संरक्षण और सामान्य जागरुकता पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया। इस दौरान मानव रचना यूनिवर्सिटी, एमआरआईआईआरएस, मानव रचना डेंटल कॉलेज और केएल मेहता दयानंद कॉलेज के छात्रों ने हिस्सा लिया। कार्यक्रम शुरू होने से पहले एग्जिबीशन का आयोजन किया गया, इसके आधार पर छात्रों के लिए 25 मिनट का एक पेपर रखा गया, जिसमें कुल 250 में से टॉप 16 छात्रों का चयन किया गया। इन 16 छात्रों ने एक क्विज कॉम्पिटीशन में हिस्सा लिया जिसके बाद बेस्ट छह छात्रों का डिबेट के लिए चयन हुआ। 

छात्रों ने “Increase in the number and intensity of natural hazards like floods, cyclones or earthquakes is an indicator of Global Warming” पर चर्चा की।  विजेता छात्रा स्वाति को CSAR-मानव रचना क्वीन और संचित को CSAR-मानव रचना किंग के खिताब से नवाजा गया और 7-7 हजार रुपए के कैश प्राइज से सम्मानित किया गया, जबकि बाकी चार छात्रों को तीन-तीन हजार के कैश प्राइज दिए गए। इस दौरान कल्चरल कॉम्पिटीशन का भी आयोजन किया गया, जिसमें लाइव आर्ट करने वाले शिवम और जगबीर ने पहला ईनाम और सात हजार रुपए कैश प्राइज और फैशन सोसाइटी आयरा को दूसरा ईनाम और तीन हजार कैश प्राइज से नवाजा गया।

कार्यक्रम में नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के पूर्व निदेशक मोहन महाऋषि, पद्म भूषण विरेंद्र दयाल और यूनिवर्सिटी ऑफ द वेस्ट ऑफ इंग्लैंड से वैज्ञानिक डॉ. मार्क एवरार्ड ने बतौर सम्मानीय अतिथि हिस्सा लिया।

ग्लोनेट नॉलेज सर्विसेज, सीएसएआर और इंटरनेशनल सोशिलॉजिकल एसोसिएशन के वर्किंग ग्रुप (5) के चेयरमैन डॉ. एचएस आनंद की ओर से इस कार्यक्रम का आयोजन करवाया गया था। इस दौरान उन्होंने मानव रचना परिवार का धन्यवाद किया साथ ही सतत विकास लक्ष्यों पर छात्रों के साथ चर्चा की। इस दौरान मानव रचना के डीजी डॉ. एनसी वाधवा, एमआरआईआईआरएस के वीसी डॉ. संजय श्रीवास्तव, प्रो-वीसी डॉ. एमके सोनी समेत कई गणमान्य लोग मौजूद रहे।
मोहसिन ख़ान का पंजा, रवि ब्रदर्स सूद क्रिकेट के प्री क्वॉर्टर फाइनल में

मोहसिन ख़ान का पंजा, रवि ब्रदर्स सूद क्रिकेट के प्री क्वॉर्टर फाइनल में

नई दिल्ली  27 मार्च ।  दायें हाथ के फिरकी गेंदबाज मोहसिन ख़ान की शानदार गेंदबाजी (8-1-34-5) और बायें हाथ के युवा बल्लेबाज आयुष डॉसेजा के बेहतरीन अर्धशतक 55 रन (पाँच चौके, 71 गेंदें) की बदौलत रवि ब्रदर्स क्रिकेट क्लब ने मोहन मीकिन्स ग्राउंड पर आज शुरू हुए 29वें अखिल भारतीय जेबीआर ओम नाथ सूद स्मृति क्रिकेट टूर्नामेंट में जॉर्डन इंटरनॅशनल क्रिकेट अकैडमी को 30 रनो से हराकर प्री क्वॉर्टर फाइनल में जगह बना ली !

टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए रवि ब्रदर्स क्रिकेट क्लब ने निर्धारित 40 ओवर में आठ विकेट पर 241 रन बनाए | जवाब में जॉर्डन इंटरनॅशनल की टीम 38.1 ओवर में 211 रनो पर सिमट गई | मुख्य अतिथि मुकेश शर्मा से बी. डी.एम. मैन ऑफ द मैच का पुरस्कार मोहसिन ख़ान को प्रदान किया ! सुबह मैच से पूर्व टूर्नामेंट का उद्घाटन मुख्य अतिथि द्रोणाचार्या गुरचरण सिंह ने किया ! इनके साथ आर.के.त्रिपाठी, पवन गुर्दित्ता, एस.एन.शर्मा, विनीत मलिक, मदन खुराना आदि गणमान्य अतिथि भी मौजूद थे !  टूर्नामेंट के आयोजक सचिव प्रमोद सूद ने टूर्नामेंट के उद्घाटन की विधिवत घोषणा की !

पहले बल्लेबाजी करते हुए रवि ब्रदर्स की टीम ने अपना पहला विकेट 20 रन के स्कोर पर ही खो दिया था | दूसरे विकेट के लिए शिवम त्रिपाठी (41) ने आयुष डॉसेजा के साथ मिलकर न केवल 59 रनों की साझेदारी निभाई बल्कि अपनी टीम को एक बड़े स्कोर की ओर अग्रसर करने का प्रयास किया | लेकिन इसके बाद राहुल वत्स (3/42) ने न केवल नियमित अंतराल पर विकेट लिए बल्कि रवि ब्रदर्स की टीम को बैकफूट पर धकेल दिया | अंतिम ओवरों में उदित गर्ग (30 नाबाद) व नीरज भाटी (26) ने उपयोगी पारी खेल अपनी टीम के स्कोर को 241 रनों तक पहुँचा दिया |

242 रनों का पीछा करने उतरी जॉर्डन इंटरनॅशनल अकैडमी की टीम ने सधी हुई शुरुआत की और पहले विकेट के लिए विलाश जोशी (28) व शाश्वत डंगवाल (52) ने आठ ओवर में 43 रन जोड़ डाले | इसके बाद मोहसिन ख़ान की घातक गेंदबाजी के चलते जॉर्डन अकैडमी की पूरी टीम 38.1 ओवर में 211 रनों पर सिमट गई | रवि ब्रदर्स की ओर से सकंद अलुवालिया ने 24 रन देकर दो विकेट लिए |

Saturday 23 March 2019

शहीदे आजम भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव को श्रृद्धाजंलि अर्पित की : राजन मुथरेजा

शहीदे आजम भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव को श्रृद्धाजंलि अर्पित की : राजन मुथरेजा

फरीदाबाद 23 मार्च । भारतीय व्यवसायिक प्रकोष्ठ के जिला संयोजक राजन मुथरेजा ने आज शहीदी दिवस के अवसर पर एनआईटी स्थित गोलचक्कर में स्थापित शहीदे आजम भगत सिंह की मूर्ति पर माल्र्यापण किया एवं शहीदे आजम भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव को अपनी सच्ची श्रृद्धाजंलि अर्पित की। इस मौके पर उपस्थितजनों को सम्बोधित करते हुए राजन मुथरेजा ने कहा 23 मार्च यानि देश के लिए लड़ते हुए अपने प्राणों को हंसते.हंसते न्यौछावर करने वाले तीन वीर सपूतों का शहीद दिवस। यह दिवस न केवल देश के प्रति सम्मान और हिंदुस्तानी होने वा गौरव का अनुभव कराता है। बल्कि वीर सपूतों के बलिदान को भीगे मन से श्रृद्धांजलि देता है।

आज का दिन हम सभी को कभी नहीं भूलना चाहिए क्योकि आज के दिन उन नौजवानो ने अपनी कम उम्र में देश क् के लिए अपना बलिदान दे दिया। उनके बलिदान को हम कभी नहीं भूलना होगा और उनके जैसा जज्बा और हिम्मत हमेंं अपने दिलो में लाना है ताकि हम देश को बाहरी ताकतो से बचा सके और इस देश में अमन और शांति ला सके।

राजन मुथरेजा ने कहा कि सालों पहले युवावस्था में ही भगत सिंह, सुखदेव व राजगुरु को आज ही के दिन फांसी दी गई थी। इसे विडंबना ही कहा जाएगा कि जिन शहीदों की वजह से हम आजाद देश में सांसें ले रहे हैं उन्हीं के बारे में युवाओं को पता तक नहीं है। इस अवसर पर राजकुमार गौड,शत्रुघ्न सिन्हा, अनिता शर्मा, योगेश कुमा,प्रवीन कुमार,जमील खान,संगीता रावत, बी बी कथूरिया, तिलक विधुरी, लाखन सिंह लोधी, मोतीलाल शर्मा, दर्शन भाटिया, अशोक, प्रेम चंद, हिमांशु अग्रवाल, डीएस रावत,मनीशशर्मा, बबीता ,कुसुम शर्मा सहित अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे।


शहीदे दिवस पर भारतीय पंचनद सेना, गुरू सेवक संघ ने किया हवन यज्ञ का आयोजन

शहीदे दिवस पर भारतीय पंचनद सेना, गुरू सेवक संघ ने किया हवन यज्ञ का आयोजन

फरीदाबाद  23 मार्च I हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी भारतीय पंचनद सेना, गुरू सेवक संघ द्वारा एनआईटी गोल चक्कर स्थित शहीदे आजम भगत सिंह की प्रतिमा के समक्ष हवन यज्ञ का आयोजन किया। इस मौके पर मुख्य रूप से बढख़ल विधायक श्रीमती सीमा त्रिखा ने हवन यज्ञ में शिरकत की। इस पूरे कार्यक्रम की अध्यक्षता समाजसेवी विष्णू सूद द्वारा की गयी। इस अवसर पर पार्षद जसंवत सिंह, मनोज नासवा, नेशनल बैडमिंटन खिलाडी नुपुर वधवा,  दिनेश छाबडा, चुन्नी लाल चोपडा, जगजीत कौर पन्नू, आचार्य विवेक दीक्षित, पे्रम दीवान,  टोनी पहलवान, कुलदीप साहनी, राकेश मढिया, तेजिन्द्र चढ्डा, सर्वजीत चौहान, सतनाम सिंह मंगल, जरमेज सिंह चौहान, प्रेम धनखड, हरबंस सिंह मठारू, रविन्द्र मंगला, अरूण वालिया, दीपक वधा, सरजू आहूजा, अमित भल्ला, जमील खान, बसंत मुंद्रा, संजीव कैथ, हंसराज कत्याल, धीरज वधवा, अनिल कपूर सहित अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे।

इस अवसर पर बढख़ल विधायक श्रीमती सीमा त्रिखा ने कहा कि आज का दिन प्रत्येक देशवासी को अपने दिलों से निकालना नहीं चाहिए क्योकि आज के दिन उन वीरो को शहीद किया गया था जिन्होंने इस देश के खातिर बहुत ही कम उम्र की अवस्था में अपने प्राणों की आहूति दे दी और वह भी केवल भारत को आजाद कराने के लिए। इसीलिए इस दिन उन्हें अवश्य ही याद करना चाहिए और वह भारतीय पंचनद सेना, गुरू सेवक संघ  का भी आभार जताती है जिन्होंने इस कार्यक्रम में आने के लिए निमंत्रण दिया।

इस मौके पर पर पार्षद जसंवत सिंह, मनोज नासवा, विष्णू सूद, टोनी पहलवान, कुलदीप सिंह साहनी ने संयुक्त रूप से कहा कि शहीदे आजम चन्द्रशेखर आजाद, राजगुरू, सुखदेव की जिंदादिल्ली से हर   युवा को सीख लेना चाहिए। उन्होंने कहाकि इन युवाओं ने अपनी कम उम्र में ही देश पर कुर्बान होने का जो जज्बा दिखाया है उस जज्बे को आज पूरा देश ही नहीं विदेशों में भी डंका बजा हुआ है। उन्होंने युवा पीढी से अपील की कि वह ऐसा जज्बा अपने दिलो में लाये और आंतकवाद और आंंतकवादी, अपराध और अपराधी सहित कई ऐसी कुरीतियां है जिन्हें जड् से समाप्त करना होगा तभी हमारा देश व हम इन शहीदो को अपनी सच्ची श्रृद्धाजंलि दे सकते है।


Friday 22 March 2019

लोकसभा चुनाव प्रत्याशी की खर्च की सीमा 70 लाख तक: उपायुक्त

लोकसभा चुनाव प्रत्याशी की खर्च की सीमा 70 लाख तक: उपायुक्त

फरीदाबाद, 22 मार्च। जिला निर्वाचन अधिकारी एवं उपायुक्त अतुल कुमार द्विवेदी ने कहा है कि लोकसभा चुनाव से जुड़े अधिकारी स्वतंत्र, शान्तिपूर्ण एवं निष्पक्ष चुनाव करवाने के लिए चुनाव आयोग की हिदायतों का गंभीरता से पालन करें। 

उपायुक्त ने कहा कि सभी अधिकारी आयोग की और से जारी निर्देशों को अच्छी तरह से समझे व उसके बाद  फील्ड में जाएं। उन्होंने कहा कि किसी भी अधिकारी को अपनी ड्यूटी के बारे में कोई संशय नहीं रहना चाहिए। चुनाव आचार संहिता का पालन करवानें व चुनावी खर्च पर नजर रखने के बारे में चुनाव आयोग द्वारा जारी निर्देशों के बारे में अपने मातहत अन्य स्टाफ को भी अधिकारीगण अवगत करना सुनिश्चित करें। उपायुक्त ने बताया कि  लोकसभा चुनाव में एक प्रत्याशी 10 हजार रूपये से ज्यादा का नकद लेन देन नही कर सकता। 

लोकसभा चुनाव में एक उम्मीदवार अधिकतम 70 लाख रूपये की राशि खर्च कर सकता है। साथ ही चुनाव लडऩे वाले उम्मीदवार तो अपने चुनावी खर्च का ब्यौरा देंगे ही, लेकिन उनके खर्च पर नजर रखने वाली टीमों द्वारा भी शैडो रजिस्टर में खर्च का ब्यौरा रखा जाएगा। चुनाव में लगाए जाने वाले एक्सपेंडिचर ऑब्र्जवर प्रत्याशी के चुनावी खर्च के रजिस्टर तथा शैडो रजिस्टर दोनो का मिलान करेंगे। यदि किसी खर्च को प्रत्याशी ने अपने ब्यौरे में नही दिखाया है तो उसे शैडो रजिस्टर में देखकर उसके खर्चे में जोड़ दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि कोई भी प्रत्याशी या उसका एजेंट अपने वाहन में 50 हजार रूपये से ज्यादा नकद लेकर नही चल सकता और चुनाव से जुड़ी प्रचार सामग्री जैसे पोस्टर, बैनर , पैम्फलेट आदि यदि गाड़ी में हो तो उनकी कीमत 10 हजार रूपये से ज्यादा नही होनी चाहिए। इससे ज्यादा मूल्य की प्रचार सामग्री यदि एक गाड़ी में हो तो उस गाड़ी और सामग्री को जब्त किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि स्टार प्रचारक या कैंपेनर अपने साथ 1 लाख रूपये नकद रख सकता है। 

जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि कोई भी प्रत्याशी 10 हजार रूपये से ज्यादा की राशि किसी एक सिंगल पार्टी को नकद अदा नही कर सकता। इससे अधिक अदायगी बैंकर्स चैक अथवा इलैक्ट्रानिक माध्यम से होनी चाहिए। इसी प्रकार, कोई भी प्रत्याशी 10 हजार रूपये से ज्यादा की राशि नकद ले भी नही सकता। चुनाव की अधिसूचना जारी होने के बाद पूरे संसदीय क्षेत्र में नाके लगाए जांएगे और सभी टीमें सक्रियता से अपनी ड्यूटी करेंगी। सभी टीमें प्रतिदिन अपनी रिपोर्ट भी भेंजेंगी। 

आदर्श आचार संहिता की पालना के लिए सर्विलेंस टीम और फ्लाईंग तैनात रहेंगे।  जहां तक चुनावी खर्च की बात है, प्रत्याशी द्वारा नामांकन भरने के दिन से ही उसके चुनावी खर्च का आंकलन शुरू हो जाएगा, पंरतु यदि कोई चुनावी गतिविधि होती है तो चुनाव की घोषणा होने के दिन से ही राजनीतिक दलों के खाते में चुनावी खर्च जुड़ता रहेगा। उन्होंने बताया कि चुनाव के दौरान ज्यादा कैश अथवा शराब लेकर जाने वाले वाहनों पर विशेष तौर पर सर्विलेंस टीमों तथा फ्लाइंग स्क्वैड को नजर रखनी है।  एक घर या भवन पर दो से ज्यादा फ्लैक्स नही लगाए जा सकते। उसमें भी मकान मालिक की अनुमति लेनी अनिवार्य है। 

Thursday 21 March 2019

Finding Best Homeopathic Doctor In Faridabad For Migraine Headache( मिग्रेन-सिरदर्द के लिए बेस्ट होम्योपैथिक दवा )

Finding Best Homeopathic Doctor In Faridabad For Migraine Headache( मिग्रेन-सिरदर्द के लिए बेस्ट होम्योपैथिक दवा )

फरीदाबाद : 22 मार्च I आप के पास फरीदाबाद में सर्वश्रेष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सक इस लेख में मैं शास्त्रीय होम्योपैथी दृष्टिकोण के साथ माइग्रेन-सिरदर्द के इलाज के लिए Aura होम्योपैथी में अपने नैदानिक अनुभव को साझा करना चाहूंगा। यद्यपि कई स्रोत रिपोर्ट करते हैं कि माइग्रेन ठीक नहीं किया जा सकता है और हम केवल उनके लक्षणों को कम कर सकते हैं, मैं अपने स्वयं के अनुभव से कह सकता हूं कि माइग्रेन का सिरदर्द ठीक है और माइग्रेन प्रतिक्रिया होम्योपैथिक उपचार के लिए सर्वश्रेष्ठ है।

होम्योपैथी सबसे आम "गैर-माइग्रेन" सिरदर्द को भी ठीक कर सकती है यदि वे प्राथमिक हैं, किसी अन्य गंभीर विकृति का परिणाम नहीं है।

माइग्रेन एक विशेष सिरदर्द है जो ज्यादातर एक तरफा होता है और इसमें विभिन्न अतिरिक्त लक्षण होते हैं जैसे कि उल्टी, मतली, दृश्य गड़बड़ी, शरीर के विभिन्न हिस्सों में झुनझुनी या सुन्नता। पुरुषों की तुलना में महिलाओं में माइग्रेन की घटना अधिक आम है और यह ज्यादातर युवावस्था में दिखाई देती है। Aura होम्योपैथी के सर्वश्रेष्ठ होम्योपैथिक डॉक्टर की हमारी टीम ने आनुवंशिक गड़बड़ी की सूचना दी है। दर्द धीरे-धीरे शुरू होता है, हालांकि, धीरे-धीरे दर्द की तीव्रता और आवृत्ति इस हद तक बढ़ जाती है कि यह सामान्य रूप से महीने में 2-4 बार, या अधिक बार होता है, और 1-3 दिनों तक रहता है। सिरदर्द इतना गंभीर है कि रोगी पूरी तरह से कार्रवाई से बाहर हैं। जिन लोगों ने माइग्रेन का अनुभव नहीं किया है, वे शायद ही सोच सकते हैं कि यह स्थिति कितनी विनाशकारी और तड़प रही है। "सामान्य जीवन" पर लौटने में कुछ दिन लगते हैं। अब आप सोच सकते हैं कि इस तरह की समस्या का इलाज जीवन की गुणवत्ता को बदल सकता है।

माइग्रेन-सिरदर्द का ऑरा होम्योपैथिक उपचार पारंपरिक उपचार से कुछ अलग है। मेरे पहले के लेखों से, आप यह पता लगा सकते हैं कि होम्योपैथी एक व्यक्ति का इलाज करता है, एक पूरे जीव के रूप में, और एक बीमारी नहीं है। माइग्रेन सिरदर्द की चिकित्सा शरीर को संपूर्ण रूप से मजबूत करके होम्योपैथी में प्राप्त की जाती है। एक बार सही होम्योपैथिक उपाय चुनने के बाद, माइग्रेन का सिरदर्द गायब हो जाता है। (माइग्रेन सिरदर्द के लिए सर्वश्रेष्ठ होम्योपैथिक दवा देखें)

माइग्रेन के उपचार में होम्योपैथी के परिणाम मैं अपने एक मरीज के उपचार के बयान को प्रस्तुत करना चाहता हूं:

"मैंने अपने सिरदर्द के लिए ऑरा  होम्योपैथी उपचार शुरू किया था क्योंकि मैंने बीस से अधिक वर्षों से पीड़ित माइग्रेन को खराब कर दिया था। मैंने सीखा कि मेरे माइग्रेन कैसे ट्रिगर होते हैं और मैंने उनसे बचने की कोशिश की, लेकिन कभी-कभी ऐसा हुआ कि सभी प्रकार के प्रभाव मेरे खिलाफ हो गए और तब मेरे सिर में असहनीय संवेदनाएं थीं, मैंने उल्टी की, कुछ भी नहीं खा सका। जब मुझे माइग्रेन का दर्द हो रहा था, तो मैं कुछ नहीं कर सकता था। मैं माइग्रेन से बचने के लिए कहीं भी यात्रा करने से बहुत डरता था। 

अपने सामान्य चिकित्सक से मिलने के बाद, मुझे प्राप्त हुआ। दर्द को मारने वाले वही थे जिन्होंने मुझ पर कब्जा कर लिया था, और विश्वविद्यालय से स्नातक होने के बाद, जो शायद सबसे तनावपूर्ण क्षण था, समस्याएं धीरे-धीरे समाप्त हो गईं और हर 2-3 महीने में एक बार केवल जब्ती आई। सालों बाद जब मैं गया तो सब कुछ बदल गया। अध्ययन करने के लिए, मुकाबलों और ट्रिगर्स की तीव्रता में बदलाव आया और बेहतर नहीं होने के कारण, मेरे पास कई दिन के मुकाबलों थे जो सप्ताह में दो बार दोहराए जाते थे।

फिर अकस्मात मैं होमियोपैथी में आ गया। Aura होम्योपैथी में मेरे इलाज की शुरुआत के दौरान मुझे संदेह हुआ, और मैंने मेरे लिए एक उचित सीमा के लिए उपचार में विश्वास बनाने की कोशिश की। मैं किसी चमत्कार में विश्वास नहीं करता, लेकिन मेरा मानना है कि शरीर खुद की मदद कर सकता है।

मैं एक वर्ष से अधिक समय से उपचार में हूं और न केवल मेरे पास माइग्रेन (केवल कभी-कभी न्यूनतम "सामान्य" सिरदर्द) नहीं है, बल्कि मैंने विभिन्न वायरस के प्रति अपनी प्रतिरक्षा में सुधार किया है और आंतरिक रूप से मजबूत महसूस कर रहा हूं।

 उसी समय रासायनिक चिकित्सा के लिए मेरा रिश्ता बदल गया, मैं इस बारे में अधिक ध्यान देने लगा कि मैं रसायन विज्ञान की जगह क्या ले सकता हूं। इसके अतिरिक्त, क्योंकि मुझे अपने उपचार के साथ होने वाले परिवर्तनों का पालन करना है, मैंने अपने शरीर को बेहतर ढंग से सुनना और देखना सीखा है। "

29 वर्षीय यह महिला 9 साल तक माइग्रेन से पीड़ित रही। जैसा कि वह कहती हैं कि पिछले कुछ वर्षों में उनके पास लगातार 2-3 दिनों के दौरे पड़ते हैं। दर्द बेहद गुणकारी था। इस रोगी में, दर्द की तीव्रता इतनी अधिक थी कि कई बार वह सतर्कता से निराशा से बाहर निकलता था या अपने घर पर नहीं पहुंच पाता था।

मेरे परामर्श के दौरान, महिला ने मेरे संपूर्ण चिकित्सा इतिहास, सभी वर्तमान स्वास्थ्य समस्याओं और माइग्रेन के हमलों का वर्णन किया। सभी जानकारी से मैंने इस मामले में सबसे अधिक प्रासंगिक लक्षणों का मूल्यांकन किया है:

वेदनाएँ स्पंदित, स्पंदनशील, अत्यंत तीव्र थीं, जो प्रायः दाहिनी आँख से शुरू होती हैं और दाहिनी नासिका में वापस फैल जाती हैं, उत्तेजित होती हैं और धूप सेंकने और शराब के सेवन से बिगड़ जाती हैं। दर्द भी धनुष द्वारा काफी बढ़ गया था, और रोगी को ठंड के तनाव से राहत मिली और मौन और अंधेरे में पड़ा रहा। दौरे लगभग नियमित रूप से मतली और उल्टी के साथ थे, और अक्सर दृश्य हानि के साथ भी। रोगी ने यह भी शिकायत की कि सूरज पिछले कुछ दिनों में समग्र रूप से खराब हो गया है, अक्सर गर्मी से पीड़ित होता है और थोड़ी प्यास होती है। मसौदे में रहने के बाद, उसके ललाट गुहा दर्दनाक थे।

इस मरीज के लिए मैंने जो होम्योपैथिक उपाय चुना, उसे बेलाडोना कहा जाता है। इसके अलावा, दाईं ओर अत्यधिक सिरदर्द, जो दाहिनी आंख से शुरू होते हैं और नप (या इसके विपरीत) तक फैल जाते हैं, तेज या काफी उत्तेजित हो जाते हैं, जो धूप, शराब या आमतौर पर किसी उत्तेजना संचार प्रणाली द्वारा रहकर होते हैं। इस दवा के लिए विशिष्ट ठंड में सुधार और सामने के दर्द को बिगड़ना भी है। होम्योपैथिक साहित्य में, यह भी पाया जा सकता है कि सिरदर्द अक्सर उल्टी, दृष्टि हानि के साथ होता है और शांति और मौन में अंधेरे कमरे में लेटकर उन्हें सुधारा जाता है।

अन्य लक्षण जो दवा की पुष्टि करते हैं वे लगातार जलन, कम प्यास और गुहाओं में दर्द होते हैं। स्पष्टता के लिए, मैं होम्योपैथिक साहित्य में बेलाडोना के सिरदर्द की विशेषताओं का वर्णन करता हूं।)

एकल खुराक के बाद से, माइग्रेन की तीव्रता काफी कम हो गई थी। पहले 2 महीनों के दौरान, रोगी को 3 गुना कम माइग्रेन था। दवा लेने के 7 दिन बाद पहला "जब्ती" हुआ, लेकिन यह एक वास्तविक माइग्रेन के बजाय एक माइग्रेन की स्थिति जैसा था। मूल माइग्रेन की तुलना में दर्द काफी कमजोर था, और रोगी ने कहा कि उसे एक जब्ती विकसित करने की सामान्य भावना थी, लेकिन अंततः ऐसा नहीं हुआ। शेष दो बरामदगी के लिए, दर्द मूल माइग्रेन की तुलना में लगभग 60-70% कम था और केवल कुछ घंटों (बिना किसी दर्द निवारक के उपयोग) के रहा। तब से, कोई माइग्रेन नहीं हुआ है।

मामला व्यवहार में समानता के नियम को दर्शाता है। होम्योपैथी का काम एक ऐसी दवा खोजना है, जो स्वस्थ व्यक्तियों में और नैदानिक अवलोकन के दौरान परीक्षण करने पर रोगी की बीमारियों के जितना करीब हो सके दिखाया गया है।

मुझे यह इंगित करना चाहिए कि यह अनुचित है, इस लेख को पढ़ने के बाद, कि प्रत्येक प्रवासी होम्योपैथिक बेलाडोना खरीदने के लिए चला गया है। इस बात की संभावना कि वह अपने मामले में कार्य करेगा, बहुत कम है। सिरदर्द को ठीक करने वाली दवाएं सैकड़ों हैं और हर विवरण इस तथ्य में भूमिका निभा सकता है कि एक ही निदान वाले रोगी को दूसरी दवा की आवश्यकता होगी। होम्योपैथी के दृष्टिकोण से, माइग्रेन (किसी भी अन्य बीमारी की तरह) दो लोगों में पूरी तरह से समान नहीं है। कई मामलों में, यहां तक कि सिरदर्द भी दूसरे क्रम का है, और दवा का चयन मानसिक और भावनात्मक लक्षणों या अन्य विशिष्ट और अद्वितीय शारीरिक अभिव्यक्तियों के आधार पर किया जाता है। इसलिए, माइग्रेन के बीस रोगियों को बीस अलग-अलग दवाओं की आवश्यकता हो सकती है, और सही दवा चुनना एक प्रशिक्षित होम्योपैथ का काम है।

बेलाडोना न केवल सिरदर्द को ठीक करता है, बल्कि विभिन्न प्रकार की परेशानियों (साथ ही अन्य होम्योपैथिक दवाओं) को भी कवर करता है। यह सूजन, फोड़े, तीव्र बुखार की बीमारियों, उच्च रक्तचाप, मिर्गी या कोरिया जैसे थायरॉयड विकारों, थायरॉयड विकारों के साथ-साथ उन्मत्त दौरे, मानसिक स्थितियों और कई अन्य समस्याओं के लिए भी सफलतापूर्वक उपयोग किया जाता है।

उपरोक्त मामला उन "आदर्श" में से है जब उपचार का तीव्र प्रभाव होता है। माइग्रेन के सभी मामलों में दौरे इतनी जल्दी दूर नहीं होते हैं, लेकिन आमतौर पर रोग का निदान बहुत अच्छा है। कुछ रोगियों में, उपचार कई महीनों या वर्षों तक रहता है इससे पहले कि बरामदगी पूरी तरह से समाप्त हो जाए, हालांकि, ध्यान देने योग्य दर्द से राहत और बरामदगी की कम आवृत्ति आमतौर पर सही दवा प्राप्त करने के कुछ हफ्तों के भीतर होती है। युवा रोगियों में माइग्रेन के लंबे समय तक इलाज या यहां तक कि बचपन के सिरदर्द के कारण होता है क्योंकि इस तरह के दर्द आनुवांशिक गड़बड़ी द्वारा दृढ़ता से वातानुकूलित होते हैं। सीधे शब्दों में कहें, तो आप लंबे समय तक माइग्रेन से पीड़ित रहते हैं, उपचार धीमा हो जाएगा।


Wednesday 20 March 2019

मानव रचना के छात्रों का सालाना मैरिअट कलनरी वर्कशॉप में चयन

मानव रचना के छात्रों का सालाना मैरिअट कलनरी वर्कशॉप में चयन

फरीदाबाद, 20 मार्च: मानव रचना इंटरनैशनल इंस्टीट्यूट ऑफ रिसर्च एंड स्टडीज के डिपार्टमेंट ऑफ होटल मैनेजमेंट के चार छात्रों का सालाना मैरिअट कलनरी वर्कशॉप-2019 के लिए चयन हुआ है। इस वर्कशॉप का फाइनल 11 अप्रैल को आयोजित किया जाएगा, जिसमें देशभर से होटल मैनेजमेंट के छात्र हिस्सा लेंगे। मानव रचना के छात्र सिद्धार्थ रंजन, अमन कुकरेजा, उदय और विपिन वर्मा का इसमें चयन हुआ है। इस वर्कशॉप के जरिए छात्रों को होटल मैनेजमेंट के गुर सीखने को मिलेंगे साथ ही होटल इंडस्ट्री से जुड़े नामी लोगों से मिलने का मौका मिलेगा।

इस वर्कशॉप को लेकर मानव रचना के होटल मैनेजमैंट के 22 छात्रों के बीच कॉम्पिटीशन का आयोजन किया गया, जिसे मैरिअट होटल के शेफ अमित कुमार ने जज किया। इस दौरान उन्होंने छात्रों  द्वारा बनाई गई डिश को लेकर सवाल-जवाब किए और फ्यूजन फूड के बारे में जानकारी दी। छात्रों ने शेफ द्वारा दी गई सलाह पर गौर किया। उन्होंने आजकल चल रहे हेल्दी फूड को लेकर भी छात्रों से बात की। उन्होंने कहा, हेल्दी फूड एक मिथ है, खाना समय पर खाने से स्वास्थ्य बेहतर रहता है। उन्होंने ये भी कहा, जो फ्रेश है और मौजूदा मौसम में मिल रहा है वह सबसे अच्छा है, इसलिए हर किसी को फ्रेश फूड ही खाना चाहिए।

कार्यक्रम में होटल मैनेजमेंट के डायरेक्टर प्रोफेसर एसके सलूजा, एचओडी रितिका सिंह समेत सभी फैकल्टी मेंबर्स मौजूद रहे। 
नए सत्र में संपन्न हुआ रचनात्मक और अनुभवशील ऑरेन्टेशन कार्यक्रम

नए सत्र में संपन्न हुआ रचनात्मक और अनुभवशील ऑरेन्टेशन कार्यक्रम

फरीदाबाद 20 मार्च ।  जीवा पब्लिक स्कूल में छात्रों को नए सत्र के प्रारंभ में विद्यालय के नियमों इत्यादि से परिचित करने के लिए तीन दिवसीय ऑरेन्टेशन ’ कार्यक्रम का आयोजन किया गया। 18 मार्च को विद्यालय का नया सत्र प्रारंभ हुआ नए सत्र में छात्रों को 20 मार्च तक विद्यालय से संबंधित विभिन्न विषयों से अवगत करवाया गया जिससे छात्र नियमों का उल्लंघन न करें व विद्यालय का अनुशासन भी भंग न हो तथा विद्यालय में सभी कार्य नियमानुसार हों। कार्यक्रम में विशेष तौर पर छात्रों को स्वास्थ्य संबंधी जानकारी देकर जागरूक भी किया गया इसलिए इस तीन दिवसीय कार्यक्रम में छात्रों का विशेष रूप से पोर्टफोलियो के माध्यम से उनके शारीरिक संरचना एवं गठन का परिक्षण किया गया एवं उन्हें उनके शारीरिक संरचना एवं गठन के अनुरूप भोजन करने की सलाह भी दी गई। 

इस विशेष आयोजन का मुख्य उद्ïदेश्य छात्रों को स्वस्थ रखना है।

इसके अलावा छात्रों ने विभिन्न प्रकार के क्रिया कलापों व गतिविधियों के द्वारा विद्यालय के मुख्य विषयों का जानकारी भी प्राप्त की। छात्रों ने विद्यालय की डायरी में दिए गए नियमों की जानकारी भी प्राप्त की। इस दौरान छात्रों को दैनिक दिनचर्या के नियमों से भी अवगत कराया गया। जीवा पब्लिक स्कूल के मुख्य सिद्घान्तों में एस0 ओ0 ई0 प्रमुख है। इस दौरान छात्रों को एस0 ओ0 ई0 की महत्ता से भी परिचित किया गया। इसके साथ-साथ छात्रों ने सडक़ सुरक्षा नियमों को भी जाना। छात्रों को लाइफ स्किल विषयों से भी अवगत किया गया। छात्रों को स्वच्छता के प्रति भी जागरूक किया गया तथा उन्होंने समूह विचार विर्मश भी किया। 

छात्रों ने इंडिया इन एक्शन एक्टिविटी के माध्यम से अनेक समाज सेवा से संबंधित कार्यों के लिए भी विचार विमर्श किया जिसमें पुरानी किताबें दान करना प्रमुख रहा। इसके अलावा छात्रों ने एम0 आई0 एवं एम0 एन0 एक्टिविटी के द्वारा अपनी प्रवृत्ति और प्रकृति को भी फ्लैश कार्ड के माध्यम से जाना। छात्रों को मेंटल मास्ट्री में सत्व गुणों से भी अवगत कराया गया। छात्रों ने साल भर अनुशासन में रहने के लिए स्वयं निर्मित नियमों का निर्माण किया जिससे सभी छात्र अनुशासन का पालन करें। जीवा पब्लिक स्कूल में शिक्षा के साथ-साथ इन विषयों पर विशेष ध्यान दिया जाता है। यही कारण है कि विद्यालय के छात्रों में नैतिक मूल्य एवं संस्कार आवश्य पाए जाते हैं। विद्यालय में इस दौरान छात्रों का एम0 आई0 एवं एम0 एन0 परिक्षण भी किया गया जिससे वे स्वयं की दक्षता भली भांति जान सकें। छात्रों ने इस कार्यक्रम के दौरान प्रकृति के विषय में भी जानकारी प्राप्त की एवं विज्ञान संबंधित विषय की भी जानकारी प्राप्त की।

विद्यालय के अध्यक्ष श्री ऋषिपाल चौहान ने छात्रों को नए सत्र के प्रारंभ की बधाई दी एवं उनको संबोधित करते हुए कहा कि सभी छात्र अपना एक महत्वपूर्ण लक्ष्य अवश्य बनाए एवं उसी को केंद्रित कर जीवन पथ पर आगे बढ़ते जाएँ। उपाध्यक्षा श्रीमती चंद्रलता ने भी छात्रों को संबोधित किया एवं कहा कि छात्रों को सदैव चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए और परिश्रम से आगे बढ़ते रहना चाहिए। प्रधानाचार्या श्रीमती देविना निगम ने भी नये सत्र में सभी छात्रों को उनके परीक्षाफल के लिए बधाई दी एवं उज्ज्वल भविष्य की कामना की। 




सर्बियन ओपन किकबॉक्सिंग कप में राष्ट्रीय खिलाडी रविंदर सिंह ने देश के लिए कांस्य पदक जीता

सर्बियन ओपन किकबॉक्सिंग कप में राष्ट्रीय खिलाडी रविंदर सिंह ने देश के लिए कांस्य पदक जीता

फरीदाबाद 20 मार्च । सर्बिया मैं 15 से 17 मार्च 2019 तक सर्बिया की राजधानी बेलग्रेड में संपन्न "सर्बियन ओपन किकबॉक्सिंग कप" में इंडियन आर्मी, आसाम में सिपाही के पद पर तैनात किकबॉक्सिंग खेल के राष्ट्रीय खिलाडी  रविंदर सिंह ने भारत का प्रतिनिधित्व करते हुए देश के लिए कांस्य पदक जीता. 

'हरियाणा किकबॉक्सिंग संघ' के संस्थापक महासचिव एवं 'वाको इण्डिया किकबॉक्सिंग महासंघ' के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं श्री संतोष कुमार अग्रवाल ने बताया की श्री रविंदर सिंह उनके नेतृत्व में सर्बिया के लिए गए थे एवं जाने के पूर्व फरीदाबाद के मुख्य प्रशिक्षण केंद्र ऍन आई टी में लगभग 20 दिनों का  अभ्यास भी किया था. श्री रविंदर सिंह ने उक्त प्रतियोगिता में किकबॉक्सिंग खेल के 'के वन रूल्स' इवेंट्स के 81 कि. ग्रा. वजन वर्ग में भाग लिया एवं अल्जेरिया के बौडमारेने राबह को क़्वार्टर फाइनल में हराकर सेमीफइनल में जगह बनाई दूसरे दिन मेजबान सर्बिया के खिलाड़ी समिलिक जोवन से कुछ ही अंतर से हारकर देश के लिए कांस्य पदक जीता. इस प्रतियोगिता में विश्व के विभिन्न देशों के जाने माने खिलाडियों ने हिस्सा लिया था. प्रतियोगिता का आयोजन 'वर्ल्ड एसोसिएशन ऑफ़ किकबॉक्सिंग ओर्गनइजेशन्स' के दिशा निर्देशानुसार 'सर्बियन किकबॉक्सिंग महासंघ' द्वारा किया गया था.     

मुख्य रूप से पंजाब के संगरूर जिले के रहने वाले श्री रविंदर सिंह ने बताया की फरीदाबाद के प्रशिक्षण केंद्र में उच्च स्तर की प्रशिक्षण सुविधाएँ हैं इस वजह से उन्होंने यहाँ पर प्रशिक्षण लेने का निर्णय लिया. लगभग 12  वर्षों से किकबॉक्सिंग खेल को खेल रहे हैं  उन्होंने यह भी बताया की यह खेल आत्मरक्षा के साथ साथ शारीरिक स्वस्थ्य के लिए भी काफी लाभदायक है. 

आज अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे दिल्ली पहुंचने पर मुख्य प्रशिक्षक श्री संतोष कुमार अग्रवाल एवं अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ी श्री रविंदर सिंह का स्वागत इंडियन आर्मी यूनिट 12 सिखलाई दिल्ली के अधिकारीयों सूबेदार श्री जसपाल सिंह, हवलदार श्री जसपाल सिंह, नायक श्री वीरपाल सिंह एवं लांस नायक श्री हरजीत सिंह द्वारा किया गया. 

श्री रविंदर सिंह की जीत पर प्रधान सचिव खेल एवं युवा मामले विभाग, हरियाणा सरकार एवं 'हरियाणा किकबॉक्सिंग संघ' के प्रदेश अध्यक्ष श्री आनंद मोहन शरण, आई. ऐ. एस., इंडियन आर्मी के यूनिट 12  सिखलाई के कमांडिंग अफसर कर्नल मनीष जैन एवं फरीदाबाद जिला किकबॉक्सिंग संघ के अध्यक्ष श्री राज कुमार अग्रवाल ने अपनी शुभकामनाएं एवं बधाई दी हैं.